संभल, संवादपत्र । आत्महत्या कर जान दे रही हूं, कार्यवाहक प्रभारी को बड़ी से बड़ी सजा मिलनी चाहिए। कुछ ऐसी ही शब्दावली के साथ जनपद संभल की गुन्नौर कोतवाली में तैनात महिला मुख्य आरक्षी के नाम से सुसाइड नोट वायरल हुआ तो हड़कंप मच गया। इस पत्र में कहा गया है कि बीमारी के चलते छुट्टी मांगी तो छुट्टी से इंकार कर उसकी ड्यूटी लगा दी गई। बड़े पुलिस अधिकारी मामले की जानकारी से इंकार कर रहे हैं।
गुन्नौर कोतवाली में तैनात महिला मुख्य आरक्षी राधा रानी के नाम से से पुलिस अधीक्षक को लिखे गये पत्र में कहा गया है कि 28 जुलाई को उसकी तबीयत खराब हुई तो एक दिवसीय आकस्मिक अवकाश के लिए डाक मुंशी के जरिये कोतवाल को प्रार्थना पत्र दिया। बाद में मुंशी ने बताया कि कार्यवाहक प्रभारी निरीक्षक ने छुट्टी देने से इंकार कर दिया है। इसके बाद रवि कुमार नाम के सिपाही ने फोन कर बताया कि तुम्हारी मुल्जिम ड्यूटी लगाई गई है। जब सिपाही से कहा कि मुझ़े तेज बुखार है तो कोतवाल ने गैर हाजिरी दर्ज करा दी।
पत्र में राधा रानी के हवाले से आगे लिखा गया कि उसने अधिकारियों के आदेशों,निर्देशों की अवहेलना नहीं की। वह बुखार में कैसे ड्यूटी कर सकती थी। उल्टे कार्यवाहक प्रभारी निरीक्षक ने बीमारी के बावजूद उसे छुट्टी न देकर अधिकारियों के निर्देशों की अवहेलना की है। अंत में लिखा कि अब वह आत्महत्या करने जा रही है। मैं तो आत्महत्या कर जान दे रही हूं,कार्यवाहक प्रभारी निरीक्षक पर भी कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाये।
जानकारी करने पर यह बात साफ हो गई कि गुन्नौर कोतवाली में राधा रानी नाम की महिला मुख्य आरक्षी तैनात है। वायरल पत्र की हकीकत बताने को राधा रानी सामने नहीं आई। वहीं पुलिस अधीक्षक कुलदीप सिंह गुनावत ने बताया कि उन्हें इस तरह का कोई पत्र नहीं दिया गया है और यह मामला भी उनके संज्ञान में नहीं है।