जयपुर। राजस्थान सरकार वीआईपी उड़ानों के लिए एक निजी कंपनी से लीज या किराये पर हेलीकॉप्टर लेगी और इस योजना हर साल लगभग 23.79 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। विधानसभा में कांग्रेस विधायक शिखा मील बराला द्वारा पूछे गए एक अतारांकित प्रश्न के लिखित उत्तर में राज्य सरकार ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
सरकार ने बताया कि वर्तमान में उसके पास कोई हवाई जहाज या हेलीकॉप्टर नहीं है। सरकार के अनुसार, उसने पांच जून 2024 को रेडबर्ड एयरवेज प्राइवेट लिमिटेड से हेलीकॉप्टर को लीज या किराये पर लेने का अनुबंध किया तथा इस पर प्रतिवर्ष 23.79 करोड़ रुपये की राशि व्यय होना अनुमानित है।
सरकार के मुताबिक, पिछले चार वर्षों में उसने हेलीकॉप्टर व विमान सेवा के लिए किराये के रूप में 2020-21 में 8.03 करोड़ रुपये, 2021-22 में 7.19 करोड़ रुपये, 2022-23 में 31.30 करोड़ रुपये और 2023-24 में 29.94 करोड़ रुपये खर्च किए।
विधायक बराला ने ‘पीटीआई-भाषा’ के एक सवाल पर कहा कि हेलीकॉप्टर लीज पर लेने पर करोड़ों रुपये खर्च करने के बजाय हेलीकॉप्टर खरीदना बेहतर होता। उन्होंने कहा, “अगर सरकार ने इस राशि से हेलीकॉप्टर खरीदे होते, तो भविष्य में सरकारी खजाने पर बोझ कम करने में मदद मिलती।”