बरेली: बुजुर्ग महिला के घर में घुसे बदमाशों ने पौने दो घंटे तक की लूटपाट, लाखों के जेवर और कैश लूटा

By Sanvaad News

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बरेली/कैंट, संवादपत्र । शहर से सटे नकटिया इलाके में एक घर में लूटपाट की वारदात से सनसनी फैल गई। छत पर चढ़कर अंदर घुसे नकाबपोश बदमाशों ने घर में सो रही बुजुर्ग महिला और उसकी बेटी तमंचे के जोर पर धमकाने के बाद करीब पौने दो घंटे तक लूटपाट की और छह लाख कीमत के जेवरात के साथ कैश लूटकर भाग निकले। पुलिस ने घटनास्थल पर छानबीन के बाद फिलहाल दो संदिग्ध लोगों को हिरासत में लिया है।

वारदात कैंट इलाके में नकटिया-मोहनपुर रोड पर सिटी पैलेस बरातघर के सामने रहने वाली शहनाज बानो के घर में हुई। शहनाज के मुताबिक उनके पति हाजी फुरकत अली खां का निधन हो चुका है। वह घर में अकेले रहती हैं। शनिवार को जलालाबाद से उनकी बेटी दीपा यादव 11 वर्षीय बेटे के साथ उन्हें देखने आई थी। तीनों एक ही कमरे में सोए हुए थे।

रात करीब 3 बजे तीन नकाबपोश बदमाश छत पर चढ़कर बरामदे में उतर आए। इसके बाद ड्राइंग रूम में लगा फाइबर का दरवाजा तोड़कर बेडरूम में पहुंच गए। शहनाज और दीपा के सिर पर तमंचे तानकर उन्हें उठाया। उनके मोबाइल फोन भी कब्जे में ले लिए।

शहनाज ने शोर मचाने की कोशिश की तो एक बदमाश ने उनका गला दबा दिया। मां-बेटी को आतंकित करने के बाद बदमाशों ने उनसे चाबी ली और बॉक्स खोलकर उसमें रखी एक सोने की एक चेन, हार, छह जोड़े सोने के कुंडल, तीन अंगूठी और 50 हजार रुपये कैश निकाल लिया। दीपा के पर्स में रखे 10 हजार रुपये और दो एटीएम कार्ड भी ले लिए। करीब पौने दो घंटे बाद बदमाश शोर मचाने पर जान से मारने की धमकी देकर फरार हो गए।

बदमाशों के जाने के बाद शहनाज ने सूचना दी तो कैंट पुलिस पहुंची। दोपहर को वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अनुराग आर्य, पुलिस अधीक्षक नगर राहुल भाटी और सीओ पंकज श्रीवास्तव ने घटना स्थल का निरीक्षण किया। एसओजी और सर्विलांस की टीमों ने साक्ष्य इकट्ठे किए। बदमाशों की पहचान के लिए आसपास के सीसीटीवी कैमरों की फुटेज की जांच की जा रही है।

32 साल पहले धर्म परिवर्तन कर सुषमा यादव से बनी थी शहनाज बानो
शहनाज बानो ने 32 साल पहले धर्म परिवर्तन कर फुरकत अली से निकाह किया था। इससे पहले उनका नाम सुषमा यादव था और वह पीएसी कर्मी विष्णु कुमार यादव की पत्नी थीं। पुलिस लूटपाट की वारदात की जांच में संपत्ति विवाद का भी एंगल तलाश कर रही है। विष्णु कुमार सीतापुर जिले के रहने वाले थे और 8वीं वाहिनी पीएसी में तैनात थे। विष्णु और सुषमा के दो बेटे आशीष और लोकेश और एक बेटी दीपा थे।

विष्णु ने नकटिया में ही मकान बना लिया था। सामने ठिरिया निजावत खां में रहने वाले फुरकत अली की आरा मशीन थी। फुरकत से विष्णु की दोस्ती हो गई तो फुरकत ने घर आना-जाना शुरू कर दिया। इसी कारण सुषमा के फुरकत से प्रेम संबंध हो गए और विष्णु का परिवार टूट गया। सुषमा धर्मपरिवर्तन कर शहनाज बन गईं और फुरकत से निकाह कर लिया। इसके बाद विष्णु तीनों बच्चों को लेकर सीतापुर चले गए। शहनाज अब भी विष्णु के ही मकान में रह रही हैं।

बेटी दीपा की शादी कई साल पहले विष्णु ने जलालाबाद में कर दी थी। दीपा वहां एक स्कूल में शिक्षामित्र है। 2011 में बीमारी से फुरकत अली की मौत के बाद शहनाज अकेली रह गईं तो दीपा ने उनसे मिलने के लिए नकटिया आना-जाना शुरू कर दिया। शनिवार को भी वह 11 वर्षीय बेटे के साथ नकटिया आई हुई थीं।

महिला के घर में घुसकर लूट की गई है। रिपोर्ट दर्ज करने के बाद घटनास्थल के आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज चेक की जा रही है।

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