लखनऊ, संवादपत्र । यूपी स्पेशल टास्क फोर्स (STF) ने जाली करेंसी का खेल करने वाले दो जालसाजों को नकली नोट के साथ गिरफ्तार किया है। स्पेशल टास्क फोर्स की गिरफ्त में आए जालसाज युवाओं को ज्यादा पैसा कमाने का लालच देकर बाजार में नकली नोट का चलन कराते थे। स्पेशल टास्क फोर्स ने जालसाजों के पास से कागज पर रंगीन प्रिंटर से छापे गए 500 रुपये की पचास गड्डियां बरामद की है। जालसाजों की निशानदेही पर पुलिस व स्पेशल टास्क फोर्स की टीमें उनके साथियों की तलाश में लगातार दबिश दे रही हैं।
स्पेशल टास्क फोर्स के सीओ दीपक कुमार ने बताया कि गुरुवार देर रात कुर्सी रोड स्कॉर्पियो क्लब के पास से राजस्थान के नोख नया निवासी रामस्वरुप विश्वनोई और विष्णु शर्मा की गिरफ्तारी की है। इनके पास से 500 रुपये की पचास गड्डियां, तीन मोबाइल, स्टॉम्प, आठ आईडीबीआई बैंक की स्लिप, दो क्रेडिट कार्ड, आधार कार्ड के अलावा नकदी भी मिली है। पूछताछ में पता चला कि जालासाज एक युवक को नकली नोट की सप्लाई करने के लिए लखनऊ आए थे।
असली के बाद नकली नोट का करते थे इस्तेमाल
पूछताछ के दौरान जालसाजों ने बताया कि गिरोह सदस्य उन लोगों को चिन्हित करते हैं, जोकि कम समय में बिना मेहनत किए अमीर बनने की हसरत रखते हैं। जिसके बाद गिरोह के सदस्य चिन्हित किए गए लोगों को बाजार में नकली नोट चलाकर उन्हें जल्द अमीर बनने का ख्वाब दिखाते थे। लोगों को फंसाने के लिए असली नोट का इस्तेमाल करते थे, फिर बहकावे में आने वाले युवकों को छोटी रकम के बदले दोगुने नकली नोट का झांसा देते थे। नकली नोट की दोबार डिमांड रहने पर जालसाज युवकों से मोटी रकम देने की शर्त भी रखते थे। जाली करेंसी की खरीद-फरोख्त पूरी हो जाने के बाद जालसाज वहां से चंपत हो जाते थे।
नोट पर लगाते थे बैंक की स्लिप
लोगों को बेवकूफ बनाने के लिए जालसाज नोट नकली न लगे तो वह नोटों के बंडल पर कुछ असली नोट रख देते और बीच बैंक की स्लिप लगा देते थे। जांच में यह भी बात सामने आई कि गिरोह के सदस्य सफेद कागज पर कलर प्रिंटर की मदद से 500 कीमत के नकली नोट की खेप करते करते थे। जिसके ऊपर कुछ असली नोट लगाकर रख देते थे, ताकि किसी को उन पर शक न हो।